जयपुर. दिवाली (Diwali) के मौके पर राजस्थान की अशोक गहलोत सरकार ने बेटियों (Daughters) को बड़ा तोहफा दिया है. अब सरकार की ओर से आरटीई के तहत पढ़ने वाली बेटियों का 12वीं कक्षा तक का पूरा खर्च सरकार उठाएगी. सरकार की ओर से इसके लिए इंदिरा शक्ति फीस पुनर्भरण योजना शुरू की गई है. मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने बजट में इसकी घोषणा की थी. बजट में घोषणा के साथ ही शिक्षा विभाग की ओर से इस पर कार्य करना शुरू कर दिया गया था. अब दिवाली के शुभ अवसर पर इसकी सौगात भी दे दी गई है.
सीएम अशोक गहलोत की सरकार ने बड़ा फैसला लेते हुए कक्षा 9 से 12 वीं तक बालिका शिक्षा को भी निशुल्क कर दिया है. सीएम गहलोत की बजट घोषणा की क्रियान्विति के तहत शिक्षा विभाग की ओर से इसी साल से ये आदेश लागू होने जा रहा है. इसकी तैयारी शिक्षा विभाग की ओर से पूरी कर ली गई है. बालिका शिक्षा को बढ़ावा देने के उद्देश्य से की गई इस घोषणा के तहत अब कक्षा 1 से लेकर 12वीं तक जहां आरटीई के तहत प्रवेश प्राप्त करने वाली बालिकाओं को निशुल्क शिक्षा मिलेगी. वहीं इस साल 8वीं कक्षा पास कर 9वीं में प्रवेश लेने वाली छात्राओं को भी इसका लाभ मिलेगा.
शिक्षा मंत्री डॉ. बीडी कल्ला की मानें तो आर्थिक रूप से कमजोर बच्चों को बेहतर और गुणवत्तापूर्ण शिक्षा प्रदान करने के लिए सरकार की ओर से राइट टू एजुकेशन की शुरूआत की गई थी. आरटीई के तहत प्रदेश की निजी स्कूलों में शुरुआती कक्षा की 25 फीसदी सीटों पर आरटीई के तहत बच्चों को प्रवेश दिया जाता है. इसके साथ ही कक्षा 1 से 8वीं तक इन बच्चों की पढ़ाई की एकमुश्त निर्धारित राशि सरकार की ओर से वहन की जाती है. लेकिन इस साल बजट में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने बालिका शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए कक्षा 9वीं से 12वीं तक भी निशुल्क शिक्षा की घोषणा की थी.
बालिका शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए बड़ा प्रयास
शिक्षा मंत्री के अनुसार बेटियों की पढ़ाई का खर्चा इंदिरा शक्ति फीस पुनर्भरण योजना के तहत वहन करने की घोषणा की गई थी. सरकार के इस फैसले को शिक्षा मंत्री बीडी कल्ला ने बालिका शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए बड़ा प्रयास बताया है. साथ ही ड्राप आउट को रोकने की दिशा में भी इसे अहम बताया है. खास बात यह है कि दीपावली के शुभ मौके पर इस योजना से जुड़े पोर्टल और ऐप की भी शुरुआत की गई है ताकि दिवाली पर बेटियों को सरकार की और से गिफ्ट दिया जा सके.