झुंझुनूं-खेतड़ी : खेतड़ी उपखंड के लालगढ़ और गाड़राटा में शुक्रवार को शहीदों का शहादत दिवस शौर्य दिवस के रूप में मनाया। कार्यक्रम के मुख्य अतिथि सुरेंद्र सिंह फौजी थे, जबकि अध्यक्षता बलवीर मीणा ने की। कार्यक्रम के दौरान लालगढ़ के शहीद सहायक कमांडेंट बजरंग लाल मीणा और गाडराट़ा के शहीद नेत्रपाल सिंह की प्रतिमा पर पुष्प चक्र अर्पित कर नमन किया गया।
इस दौरान सुरेंद्र सिंह फौजी ने कहा कि झुंझुनूं जिला देश के लिए सबसे अधिक सैनिक देने का गौरव रखता है। जब भी देश की सरहद पर कोई हलचल होती है तो, झुंझुनू जिला अपने लाल की कुर्बानी जरूर देता है। यहां की मिट्टी में शौर्य साहस की इतनी ताकत है कि यहां बचपन से ही युवाओं को सेना में भेजने के लिए प्रेरित किया जाता है। केंद्र सरकार की ओर से अंडमान निकोबार में द्वीप के नाम शहीदों के नाम पर करने में झुंझुनू जिले में भी अपना महत्वपूर्ण स्थान हासिल किया है। जिले के परमवीर चक्र विजेता मेजर पीरू सिंह के नाम से भी द्वीप बनाकर यहां के युवाओं को आगे बढ़ने के लिए प्रेरित किया जा रहा है।
लालगढ़ के शहीद कमांडेंट बजरंग लाल मीणा सीआरपीएफ में कार्यरत थे। साल 2009 में दंतेवाड़ा में नक्सलियों से हुई मुठभेड़ के दौरान चार नक्सलियों को ढेर करते हुए वीरगति को प्राप्त हो गए थे। इसके अलावा गाडराट़ा के शहीद नैत्रपाल सिंह अक्टूबर 1984 मे राजरिफ मे भर्ती हुए थे। जम्मू कश्मीर के अवंतीपुरा मे 1992 मे सेना की ओर से आंतकियों के खिलाफ चलाए गए ऑपरेशन रक्षक के दौरान एक लाख रुपए के इनामी आतंकी को मार गिराने मे सफलता हासिल की। इसके बाद आमने-सामने की भिडंत मे नैत्रपाल सिंह देश के लिए वीरगति को प्राप्त हो गए थे। उनके साहस और शौर्य पर तत्कालीन राष्ट्रपति शंकरदयाल शर्मा ने मरणोपरांत शौर्य चक्र से नवाजा था। इस मौके पर सुरेंद्र घुमरिया, बलवीर मीणा, नरेश कुमार, मुकेश कुमार, राजवीर चौधरी, देबू सिंह निर्वाण, मनोज सिंह, दीप सिंह, सहित अनेक लोग मौजूद थे।