झुंझुनूं-खेतड़ी : खेतड़ी कस्बे के राजकीय अजीत अस्पताल के सामने बने पार्क में बुधवार को राजा अजीत सिंह की 122 वी पुण्यतिथि मनाई गई। कार्यक्रम के मुख्य अतिथि चर्मरोग विशेषज्ञ डॉ. प्रवीण कुमार शर्मा, विशिष्ट अतिथि ईश्वर पांडे, निकेश पारीक थे, जबकि अध्यक्ष शंकरसिंह रहे। कार्यक्रम के दौरान सबसे पहले अतिथियों ने राजा अजीत सिंह की प्रतिमा पर पुष्प अर्पित कर उन्हें नमन किया। कार्यक्रम को संबोधित करते हुए डॉ. प्रवीण कुमार शर्मा ने कहा कि राजा अजीत सिंह हमेशा दूरदर्शी सोच और क्षेत्रीय विकास को लेकर अग्रणी रहते थे।
खेतड़ी को दिलाई अगल पहचान
उन्हीं के प्रयास से खेतड़ी को देश में एक अलग पहचान मिल पाई थी। राजा अजीत सिंह जब खेतड़ी विरासत के शासक थे, तो उन्होंने अपनी प्रजा के लिए अनेक बांध और जल स्त्रोतों का निर्माण करवाया ताकि आने वाले समय में खेतड़ी की जनता को पेयजल की समस्या का सामना ना करना पड़े। आज भी खेतड़ी में ऐतिहासिक अजीत सागर बांध, पन्नाशाह तालाब, समदेड़ा तालाब सहित ऐसे अनेक जल स्त्रोत बने हुए हैं जिनसे खेतड़ी की जनता पानी का उपयोग कर रही है।
स्वामी विवेकानंद के साथ थी गहरी मित्रता
राजा अजीत सिंह ने स्वामी विवेकानंद के साथ गहरी मित्रता निभाई थी और उनकी मित्रता पूरे देश में एक अलग पहचान बना पाई थी। उन्होंने शिकागो धर्म सम्मेलन में स्वामी विवेकानंद को भेजने के लिए पूरा प्रबंध किया था, जिसके बाद स्वामी विवेकानंद ने 1893 में हुए शिकागो धर्म सम्मेलन में सनातन धर्म संस्कृति का प्रचम लहरा कर विश्व में खेतड़ी के नाम की पहचान बना दी थी। जब स्वामी विवेकानंद शिकागो धर्म सम्मेलन से वापस खेतड़ी लौटे तो राजा अजीत सिंह ने खेतड़ी सीमा से उनका भव्य स्वागत किया गया था। इस दौरान उन्होंने युवाओं से राजा अजीत सिंह के जीवन से प्रेरणा लेकर आगे बढ़ने का आह्वान किया।
कई लोग रहे मौजूद
इस मौके पर महिपाल सिंह गाडराट़ा, गौतम मेहरा, रजत शर्मा, विकास कुमावत, मनोज कुमार सैनी, चिंटू सुरोलिया, मनोज सैनी, संजय शर्मा, विकास सेन, अभिषेक भारद्वाज, नवीन सिंह, विजेंद्र सिंह, रविंद्र सिंह, पुष्पेंद्र सिंह, महावीर सिंह, अमित कुमार, संदीप सिंह, जयपाल सिंह, अशोक, यश सैनी, दलीप सिंह, रामवीर सिंह, मोनू सिंह सहित अनेक लोग मौजूद थे।