दौसा : राजस्थान की दौसा जिला पुलिस ने डीएसटी टीम की मदद से 5 दिन पहले मेहंदीपुर बालाजी के मेन मार्केट में स्थित मुलकराज धर्मशाला में हुए युवती के सनसनीखेज ब्लाइंड मर्डर का खुलासा कर दिया है। लड़कियों और महिलाओं की तस्करी करने वाली अंतर राज्यीय गैंग के दो सदस्यों को भी गिरफ्तार करने में पुलिस ने कामयाबी हासिल की है। पुलिस ने उत्तरप्रदेश के अलीगढ़ खैर सब्जी मंडी इलाके के निवासी आरोपी पवन कुमार उर्फ अजय शर्मा पुत्र सतवीर (42 साल) और उसकी महिला मित्र को गिरफ्तार किया है। जिस किरण उर्फ फूलमती यादव (42 साल) को गिरफ्तार किया गया है, वह कृपाशंकर नाम के व्यक्ति की पत्नी है। वह उत्तरप्रदेश के आजमगढ़ जिले के जलालपुर की निवासी है।
धर्मशाला रूम में अर्ध नग्न मिली थी युवती की डेड बॉडी
दौसा एसपी संजीव नैन ने बताया कि 4 जनवरी को मेहंदीपुर बालाजी की मुल्क राज धर्मशाला के एक कमरे में युवती का शव रजाई से ढका हुआ अर्धनग्न हालत में मिला। धर्मशाला के मैनेजर की रिपोर्ट पर मुकदमा दर्ज कर ब्लाइंड मर्डर की वारदात के खुलासे के लिए आईजी उमेश चंद्र दत्ता के निर्देश पर सीओ दीपक मीणा के सुपरविजन और एसएचओ अजीत सिंह बडसरा के नेतृत्व में थाना स्तर और डीएसटी से 18 सदस्यों की टीम गठित की गई।
चैलेंज के रूप में लिया, 4 टीम गठित कीं
2 दिन पुराना शव फूलने और चोट के कारण चेहरे का अंदाजा लगाना मुश्किल था। कमरे में ऐसा कोई सुबूत नहीं मिला, जिससे मृतक युवती और आरोपियों का सुराग लग सके। धर्मशाला के रजिस्टर में गलत नाम, मोबाइल नंबर ओर फर्जी आधार कार्ड दिया गया था। धर्मशाला में सीसीटीवी भी नहीं लगे थे। ऐसे में पुलिस ने वारदात को एक चैलेंज के रूप में लिया और हत्या के राजफाश के लिए 4 अलग अलग टीम गठित की गईं।
भाषा-बोली से हुई मृतक युवती की पहचान
धर्मशाला के मैनेजर ने मृतक युवती और उसके साथ आए व्यक्तियों की बोली यूपी के मथुरा और आगरा जैसी होना बताया। इस पर पुलिस की एक-एक टीम मथुरा, आगरा, अलीगढ़ और हाथरस भेजी गई। पुलिसिया पड़ताल में पता चला कि बरेली के थाना कोतवाली में 2 जनवरी को एक लड़की की गुमशुदगी दर्ज हुई थी। 31 दिसंबर को घर से नाराज होकर वह कहीं चली गई थी। परिजनों ने फोटो और शव देख कर मृतक युवती की पहचान आकांक्षा उर्फ शोभी देवल (22) निवासी बड़ागांव बरेली के रूप में की।
उत्तरप्रदेश जाकर पुलिस ने हत्यारों को पकड़ा
डेड बॉडी की शिनाख्त होने पर आधार कार्ड के आधार पर एक टीम अलीगढ़ पहुंची और वहां लड़कियों और महिलाओं की खरीद फरोख्त से जुड़े लोगों की जानकारी हासिल की। खैर इलाके में कमरा लेकर रह रहे व्यक्ति डॉ अजय और वीरेंद्र टीम को संदिग्ध लगे। अजय का नाम ही पवन शर्मा है। टीम को पता लगा कि अजय और उसकी महिला मित्र किरण किसी लड़की को लेकर मथुरा से निकले हैं । इस सूचना पर आरोपी को पकड़ने के कई कोशिशें की गईं, लेकिन हर बार वह बच निकला। आखिर सोमवार को वृंदावन के छटीकरा चौराहे से टीम ने पवन को और फिर उसकी सूचना पर महवा के पास नौगांवा में हेम सिंह राजपूत के घर में रह रही किरण को भी पकड़ लिया।
मथुरा जंक्शन पर अकेली बैठी युवती को भरोसे में लेकर वारदात
22 साल की युवती आकांक्षा उर्फ शोभी देवल किसी बात पर घरवालों से नाराज होकर 31 दिसंबर को घर से निकल गई थी। इधर-उधर भटकने के बाद 2 जनवरी की सुबह कहीं जाने के लिए मथुरा जंक्शन के वेटिंग हॉल में वह अकेली बैठी हुई थी। आरोपी अजय उर्फ पवन और किरण यादव ने उससे बातें कीं और उसकी परिस्थितियों का फायदा उठाकर विश्वास में ले लिया।
चाय में नींद की गोली मिलाकर रेप अटैम्प्ट, विरोध पर हत्या
भरोसे में लेकर आकांक्षा को दोनों आरोपी राजस्थान के दौसा जिले के मेहंदीपुर बालाजी ले आए। जहां उन्होंने उसके लिए खरीदारी भी की। कस्बे के मुलकराज धर्मशाला में कमरा लेकर शाम को चाय में नींद की गोली मिलाकर युवती को दी। रेप की कोशिश करने पर आधे होंशो-हवास की हालत में आकांक्षा ने विरोध किया और चिल्लाने लगी। तो घबराकर आरोपियों ने उसका गला दबा दिया और सिर दीवार पर मारकर हत्या कर दी। इसके बाद आरोपियों ने युवती के शव को रजाई से ढक दिया। फिर सारा सामान लेकर कमरे को लॉक कर मौके से फरार हो गए।