उत्तर प्रदेश के आगरा जिले से एक चौका देने वाली खबर सामने आई है, जहां चार्ज लेने के 10 घंटे बाद ही दरोगा की कुर्सी छिन गई। इसके पीछे कारण ये था कि हिस्ट्रीशीटर ने थाने में घुसकर दरोगा का स्वागत किया और उन्हें माला पहते हुए फोटो खिंचवाकर सोशल मीडिया पर पोस्ट कर दी। फोटो देखते ही कमिश्नर जे. रविंदर गौड़ ने तत्काल कार्रवाई करते हुए थानाध्यक्ष मोहित शर्मा को लाइन हाजिर कर दिया। ये मामला निबोहरा थाने का है।
आगरा के कई थानों में केस दर्ज
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, हिस्ट्रीशीटर लोकेंद्र उर्फ लुक्का शाहवेद निबोहरा गांव का रहने वाला है। जिसके खिलाफ आगरा के कई थानों में केस दर्ज है। उसने 2017 में राजाखेड़ा थाने में तैनात दरोगा टीनू सोगरवाल को गोली मार थी। दरोगा को जुए की सूचना मिली थी। इस पर दरोगा छापेमारी करने पहुंचीं। लुक्का ने 2 साथियों के साथ मिलकर दरोगा पर फायरिंग कर दी। गर्दन पर गोली लगने से दरोगा घायल हो गईं। इसके बावजूद हार नहीं मानी। उन्होंने साहस दिखाते हुए बदमाश प्रवेंद्र कुमार और लोकेंद्र को गिरफ्तार कर लिया। कोर्ट ने अप्रैल, 2024 में दोनों को 10-10 साल की सजा सुनाई। लोकेंद्र जमानत पर अभी बाहर है।
इस पूरे मामले में दरोगा का कहना है कि थानाध्यक्ष बनने के बाद कई लोग मुझसे मिलने आए थे। इनमें हिस्ट्रीशीटर भी शामिल था। मैं पहली बार थाने पर पहुंचा था। यहां पर तैनात किसी पुलिसकर्मी ने हिस्ट्रीशीटर के बारे में नहीं बताया। इसलिए मुझे उसके बारे में पता नहीं था। वह पूर्व थाना प्रभारी की विदाई में भी शामिल हुआ था।