परिवहन एवं सड़क सुरक्षा मंत्री बृजेंद्र ओला के गृह जिले में लोक परिवहन की बसें बिना परमिट के ओवर स्पीड चल रही हैं। इनसे आए दिन हादसे हो रहे हैं, जिनमें लोगों की मौतें हो रही हैं। दो दिन पहले लोक परिवहन की बस ने झुंझुनूं चिड़ावा हाइवे पर एक कार को टक्कर मार दी थी, जिससे कार सवार दो युवकों की मौत हो गई और सात बस यात्री भी घायल हो गए थे।
हादसे के बाद दैनिक भास्कर ने जिले में लोक परिवहन बसों की पड़ताल की तो सामने आया कि 80 बसों का ही परमिट है, जबकि चल रही 300 से ज्यादा है। जिले में कई बसें जनप्रतिनिधियों के परिजनों, रिश्तेदारों व अधिकारियों के परिचितों की हैं। इस कारण पुलिस व परिवहन विभाग के अधिकारी भी इन पर कार्रवाई नहीं करते। बड़े हादसे होने पर कभी कभार कागजी खानापूर्ति की जाती है।
गलत दिशा में बस घुमाई
दो दिन पहले बीड़ में लोक परिवहन बस के गलत ओवरटेकिंग करते कार को टक्कर मार देने से दो युवकों की मौत हो जाने के बाद भी संचालकों ने सबक नहीं लिया। एक चालक ने भी ओवरटेक करते हुए गलत दिशा में बस को घुसा दिया। यात्रियों ने सजगता दिखाते हुए पुलिस को फोन कर बस को जब्त करा दिया।
हुआ यूं कि लोक परिवहन बस पिलानी से आ रही थी। चालक ने सर्किल पर ओवरटेक करते हुए स्पीड बढ़ाकर गलत दिशा में बस को घुमा दिया। सामने आ रही दो गाड़ियों से टक्कर बच गई। नाराज यात्रियों ने पुलिस को फोन किया। ट्रैफिक पुलिस के प्रभारी धर्मेंद्र मीणा ने बताया कि बस को जब्त किया है।
थाना-परिवहन कार्यालय के सामने से गुजरती हैं बसें
लोक परिवहन की बसें पुलिस थानों व परिवहन कार्यालय के सामने से गुजरती हैं। पिलानी से चिड़ावा होकर झुंझुनूं व सीकर जयपुर तक जाती कई बसों का परमिट ग्रामीण रूट का है फिर भी ये बसे हाईवे पर दौड़ती हैं। इनके रूट पर कई पुलिस थाने भी आते हैं, लेकिन पुलिस को ओवर स्पीड व ओवरलोड दौड़ती ये बसें नजर नहीं आती है। झुंझुनूं व सीकर जिले के परिवहन कार्यालय भी इन रूट पर आते हैं, लेकिन इनके अफसर भी न इन बसों की जांच करते हैं और इन कारवाई होती है।