झुंझुनूं-सिंघाना : सिंघाना नगर पालिका क्षेत्र की पहाड़ी पर आस्था एवं पर्यटक स्थल बाबा स्वरूपनाथ महाराज की समाधि स्थल बना हुआ है। जिसे खुर्द-बुर्द कर मंदिर का स्वरूप बनाए जाने को लेकर शुक्रवार को ग्रामीणों ने विरोध प्रदर्शन किया।
इस दौरान आदिवासी मीणा समाज संगठन की पहाड़ी पर बने दुर्गा मंदिर में बैठक हुई। जिसमें संगठन के पदाधिकारियों ने निर्माण कार्य के नाम पर प्राचीन समाधि स्थल को तोड़कर किए जा रहे निर्माण कार्य को लेकर रोष व्यक्त किया।
इस संबंध में आदिवासी मीणा समाज के अध्यक्ष राधेश्याम मीणा ने वन विभाग के उच्च अधिकारियों और संबंधित अधिकारियों को पत्र लिखकर समाधि स्थल को खुर्द-बुर्द करने के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई है।
उन्होंने कहा कि कुछ असामाजिक तत्वों की सह पर आस्था के केंद्र समाधि स्थल को तोड़कर मंदिर के निर्माण करवाने का प्रयास किया जा रहा है। जिस पर आदिवासी मीणा समाज के लोगों ने एतराज जताते हुए कहा कि समाधि स्थल पर जो आस्था का स्थान है, उनके स्थान पर मूर्ति लगाना गलत है।
हर साल सर्व समाज की ओर से मेले का आयोजन किया जाता है। जिसमें दूर-दराज से श्रद्धालु आकर मंदिर में जात जडूले लगाकर क्षेत्र में खुशहाली की कामना की जाती है। स्वरूपनाथ महाराज की कोई तस्वीर ही नहीं है, तो फिर मूर्ति किस बात की लगाई जाएगी।
ग्रामीणों ने बताया कि सरकार की बजट से बने सामुदायिक भवन को भी तोड़ कर कुछ लोग व्यापारिक दृष्टिकोण अपनाते हुए आस्था के केंद्र स्वरूप जी महाराज की समाधि के दुकानें बनाकर निजी आय के स्रोत बनाकर चंदा इकट्ठा करना चाहते हैं।
इस दौरान बैठक में सर्व सहमति से फैसला लिया कि ऐतिहासिक धरोहर को किसी भी सूरत पर खुर्द-बुर्द नहीं करने दिया जाएगा।
बैठक के बाद मौजूद लोगों ने नारेबाजी और विरोध प्रदर्शन कर ट्रस्ट के तथाकथित पदाधिकारियों का विरोध किया।
इस मौके पर संरक्षक प्यारे लाल मीणा, महासचिव बाबूलाल मीणा, कोषाध्यक्ष श्रीकिशन मीणा, उपाध्यक्ष रतिराम मीणा, रवि कुमार मीणा, दिनेश कुमार, जतिन मीणा, घीसाराम, रामपाल मीणा, राजेश कुमार, विनोद कुमार, पवन कुमार मीणा, विजय कुमार, नरसी नायक, मनोज कुमार सैनी, विकास कुमार मीणा, हरि सिंह मीणा, पवन कुमार मीणा सहित अनेक ग्रामीण मौजूद थे ।