जोधपुर : वकील की हत्या का एक और लाइव VIDEO:बचने को दौड़ा तो पीछे भागे हत्यारे; चाकू से पेट-सीने में वार किए, पत्थर से सिर कुचला

जोधपुर : जोधपुर में 55 साल के वकील जुगराज चौहान मर्डर मामले में रविवार को एक और वीडियो सामने आया है। वीडियो में वकील बचने के दौड़ लगा रहा है। हत्यारे चचेरे भाई पीछे भागते हुए गिरा देते हैं। चाकू से सीने और पेट पर लगातार वार करते हैं। फिर पत्थर उठाकर सिर को कुचल देते हैं।

इधर, एडवोकेट की हत्या के पीछे बदला लेने की बात सामने आई है। चचेरे भाइयों ने 700 वर्गफीट का प्लॉट खाली कराने और वकील के बेटे के एक्सीडेंट का आरोप लगाने के बाद से रंजिश पाल रखी थी।

रविवार को सामने आए वीडियो में एक वकील जुगराज चौहान के नीचे गिरने के बाद पहले पेट और फिर सीने में चाकू से लागातार वार करता दिख रहा है।
रविवार को सामने आए वीडियो में एक वकील जुगराज चौहान के नीचे गिरने के बाद पहले पेट और फिर सीने में चाकू से लागातार वार करता दिख रहा है।

वहीं रविवार को एडवोकेट महात्मा गांधी हॉस्पिटल की मॉर्च्युरी के बाहर धरने पर बैठ गए हैं। वकील सरकार से एडवोकेट प्रोटेक्शन एक्ट लागू करने, पीड़ित परिवार को एक करोड़ का मुआवजा देने, घटना में शामिल अन्य आरोपियों को पकड़ने और परिवार के एक व्यक्ति को सरकारी नौकरी देने की मांग कर रहे हैं।

बार एसोसिएशन के अध्यक्ष रणजीत जोशी ने कहा कि वकील जुगराज चौहान के बेटे का 2 साल पहले मर्डर कर एक्सीडेंट का रूप दिया गया था। दो साल से वे परेशान थे। पुलिस अधिकारियों को लगातार ज्ञापन दे रहे थे, लेकिन ध्यान नहीं दिया गया।

उन्होंने कहा कि शनिवार शाम मंदिर वाला मोहल्ला के पास ही जटिया कॉलोनी निवासी चचेरे भाइयों अनिल और मुकेश ने चाकू और पत्थर से हमला कर जुगराज चौहान का मर्डर कर दिया। इस मामले में दोनों आरोपियों को पकड़ लिया गया था। इसमें तीसरे आरोपी जिसने फोन कर वकील को घर से बुलाया था, उसे भी दस्तयाब कर लिया गया है। उसे हिरासत में लेकर पूछताछ की जा रही है। इस मामले में अब तक 3 आरोपी पकड़े जा चुके हैं।

जोशी ने बताया- वकील अब धरने पर बैठे हैं। सीएम से वक्त मांगा गया है। हमारी यही मांग है कि इस मामले में और भी दोषी हो तो उन्हें गिरफ्तार किया जाए। वकील जुगराज के बेटे का मर्डर कर एक्सीडेंट का रूप दिया गया। अब पिता की भी हत्या कर दी गई। यह हत्या रंजिश में की गई है।

अध्यक्ष ने कहा कि सीएम से हम मांग करेंगे कि पीड़ित परिवार को 1 करोड़ का मुआवजा दिया जाए। परिवार के एक सदस्य को सरकारी नौकरी दी जाए। वकील के परिवार में पिता-पुत्र का मर्डर हुआ है, ऐसे में परिवार को सुरक्षा दी जाए और एडवोकेट प्रोटेक्शन एक्ट को कानून का रूप दिया जाए।

क्या है 700 वर्गफीट के प्लॉट का मामला

कोर्ट के आदेश से वकील जुगराज चौहान ने आरोपियों अनिल और मुकेश से जमीन खाली कराई थी। दोनों पक्षों के बीच जमीन विवाद चल रहा था। आरोपियों का एक 700 वर्ग फीट का प्लॉट था, जिसे कोर्ट के आदेश पर जुगराज को सौंप दिया गया था। इससे आरोपी 70 वर्ग फीट के मकान में रह रहे थे। वकील ने वहां पर मकान बनाकर मजदूरों और अन्य को किराए पर दे दिया था, जिससे किराया आ रहा था। वहीं आरोपियों के पास आय का कोई साधन नहीं था। यह देखकर आरोपियों ने वकील से रंजिश पाल ली।

मंडोर एसीपी ने दोनों पक्षों को बुलाया था

बताया जा रहा है कि शनिवार को दिन में मंडोर एसीपी राजेंद्र दिवाकर ने दोनों पक्षों को बुलाया था। आरोपियों ने बताया कि वे बहुत ज्यादा परेशान हो गए थे, जिसके चलते तय किया कि परेशान होने से अच्छा है जेल जाना। शाम को उन्होंने वकील जुगराज चौहान के घर लौटने का इंतजार किया। तीसरे आरोपी ने फोन कर वकील को बाहर बुलाया। शाम को 5.45 बजे वकील बाइक पर मंदिर वाला मोहल्ला स्थित घर से निकला तो भदवासिया अस्पताल के सामने उन्हें अनिल और मुकेश ने घेर कर हमला कर दिया।

करियर के शुरुआत में भदवासिया में फ्रूट-सब्जी बेचे

बता दें कि एडवोकेट जुगराज चौहान ने अपने करियर की शुरुआत फ्रूट बेचकर की थी। जुगराज मंदिर वाला मोहल्ला के रहने वाले थे। भदवासिया इलाके में जहां मर्डर हुआ वहां जुगराज वकील बनने से पहले फ्रूट और सब्जी बेचा करते थे। इसके बाद एलएलबी कर वकालत के पेशे में आए।

जहां मर्डर हुआ, वहां हुआ था बेटे का एक्सीडेंट

जिस जगह आरोपियों अनिल और मुकेश ने वकील जुगराज चौहान का चाकू और पत्थर से मर्डर किया, उससे 100 मीटर की दूरी पर 12 अगस्त 2020 को उनके 18 साल के बेटे लोकेश का एक्सीडेंट हुआ था। एक्सीडेंट में लोकेश की मौत हो गई थी। वकील जुगराज ने एक्सीडेंट का आरोप अनिल और मुकेश पर लगाया था। आरोप था कि बेटे को कार से टक्कर मारकर दोनों ने उसकी हत्या कर दी और मर्डर को एक्सीडेंट का रूप दे दिया।

एडवोकेट के परिवार में अब उनका बेटा जयप्रकाश बीएससी की पढ़ाई कर रहा है। वहीं एक बेटी हेमलता भी है। दोनों फिलहाल धरने पर बैठे हैं। वहीं उनके साथ परिजन, समाज के लोग और एडवोकेट भी धरने पर मौजूद हैं।

महात्मा गांधी अस्पताल की मॉर्च्युरी के बाहर परिजन और वकील धरने पर बैठे हैं। वकील प्रोटेक्शन कानून के साथ कई मांगें रखी गई हैं।
महात्मा गांधी अस्पताल की मॉर्च्युरी के बाहर परिजन और वकील धरने पर बैठे हैं। वकील प्रोटेक्शन कानून के साथ कई मांगें रखी गई हैं।

परिजनों ने बताया कि अपने बेटे के एक्सीडेंट के बाद से जुगराज काफी परेशान थे। आरोप है कि इस मामले को लेकर कई बार प्रशासनिक अधिकारियों को भी बताया गया। लेकिन इस पर कोई कार्रवाई नहीं की गई। इसके चलते दोनों अपराधी बेखौफ होकर घूम रहे थे।

वकील जुगराज चौहान बार एसोसिएशन के सदस्य थे। वकालत से पहले वे भदवासिया इलाके में फ्रूट बेचा करते थे।
वकील जुगराज चौहान बार एसोसिएशन के सदस्य थे। वकालत से पहले वे भदवासिया इलाके में फ्रूट बेचा करते थे।

राजस्थान हाई कोर्ट एडवोकेट एसोसिएशन के पूर्व अध्यक्ष नाथू सिंह राठौड़ ने बताया कि सीनियर एडवोकेट जुगराज चौहान 2020 में हुए अपने बेटे के एक्सीडेंट के बाद से ही काफी तनाव में थे। पिछले 2 साल से एडवोकेट चौहान अपने बेटे की हत्या को लेकर पुलिस के उच्च अधिकारियों से भी मिल रहे थे। जिसमें उन्होंने अधिकारियों को बताया कि कार से उनके बेटे को टक्कर मारकर उसकी हत्या की गई, लेकिन उस पर कोई गौर नहीं किया गया।

वकील जुगराज के बेटे का एक्सीडेंट हुआ था। वकील ने इसका आरोप अनिल और मुकेश पर लगाया था। इसके अलावा वकील ने आरोपियों से एक प्लॉट भी खाली करवाया था।
वकील जुगराज के बेटे का एक्सीडेंट हुआ था। वकील ने इसका आरोप अनिल और मुकेश पर लगाया था। इसके अलावा वकील ने आरोपियों से एक प्लॉट भी खाली करवाया था।

उन्होंने कहा कि परिवार में कमाने वाले अकेले जुगराज ही थे। उनके परिवार में एक पुत्र और पुत्री, पत्नी है। इनके जीवन यापन के लिए सरकार आर्थिक संबल दे। सरकारी नौकरी की घोषणा भी करें। प्रशासन परिवार को तुरंत सुरक्षा प्रदान करें।

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