झुंझुनूं-पिलानी : पिलानी निवासी डॉ. आर.डी. सैनी को मिला साहित्य का सर्वोच्च ‘मीरा पुरस्कार’

झुंझुनूं-पिलानी : राजस्थान साहित्य अकादमी द्वारा झुंझुनूं के पिलानी के मूल निवासी डॉ. आर.डी. सैनी को वर्ष 2020-21 के गद्य का सर्वोच्च पुरस्कार ‘मीरा पुरस्कार’ देने की घोषणा की गई है। अकादमी अध्यक्ष दुलाराम सहारण ने बताया कि डॉ. आर.डी. सैनी को यह पुरस्कार उनके उपन्यास ‘प्रिय ओलिव’ के लिए दिया गया है। प्रिय ओलिव एक पालतू श्वान और मनुष्य के भावनात्मक अंतर्संबंधों की कहानी है, जो पालतू जीवों के प्रति दया भाव रखने को प्रेरित करती है। गौरतलब है कि डॉ. सैनी मूलतया झुंझुनूं के पिलानी के मूल निवासी हैं। वे चिड़ावा कॉलेज में प्रधानाचार्य भी रह चुके हैं। वे आरपीएससी के पूर्व कार्यवाहक चेयरमैन और सदस्य रहे हैं। इससे पहले वे राजस्थान हिंदी ग्रंथ अकादमी के भी निदेशक रह चुके हैं। डॉ. सैनी को पुरस्कार स्वरूप 75 हजार रुपए की सम्मान राशि सर्वोच्च मीरा पुरस्कार के लिए दी जाएगी।

अकादमी सदस्य (समिति) पीआरओ हिमांशु सिंह ने बताया कि सैनी के अलावा काव्य विद्या का सुधींद्र पुरस्कार गुला मोहियुद्दीन माहिर, कहानी का रांगेय राघव पुरस्कार रानी मेनारिया, आलोचना का देवराज उपाध्याय पुरस्कार माधव नागदा, विविध विद्या का कन्हैयालाल सहल पुरस्कार उमा, नाटक का देवीलाल सामर पुरस्कार राजकुमार इंद्रेश, बाल उपन्यास का शंभुदयाल सक्सेना पुरस्कार पूरन सरमा, गज़ल का सुमनेश जोश प्रथम कृति पुरस्कार ब्रिजेश माथुर को मिला है।

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