झुंझुनूं-खेतड़ी : अखिल राजस्थान राज्य कर्मचारी संयुक्त महासंघ ने बुधवार को संविदा कर्मचारियों को नियमित करने सहित 15 सूत्रीय मांगों को लेकर एसडीएम को ज्ञापन दिया है। इस दौरान उन्होंने जल्द मांगे नहीं मांगी जाने पर प्रदेश व्यापी आह्वान पर जयपुर में 23 जनवरी को बड़े आंदोलन की चेतावनी दी है।
15 सूत्रीय मांगों को लेकर सौंपा ज्ञापन
एसडीएम जय सिंह चौधरी को मुख्यमंत्री के नाम दिए ज्ञापन में कर्मचारियों ने बताया कि राज्य कर्मचारी संयुक्त महासंघ पिछले चार वर्षों से शासन व सरकार के सक्षम स्तर तक अपनी मांगों को लेकर बार-बार निवेदन किया जा रहा है, लेकिन सरकार कर्मचारियों के हितों को लेकर गंभीर नहीं होने से अब राज्य के कर्मचारियों में विरोध के स्वर उत्पन्न हो गए हैं। उन्होंने बताया कि महासंघ के प्रतिनिधि मंडल ने 16 नवंबर को मुख्य सचिव को ज्ञापन देकर अपनी मांगों के लिए अवगत करवाया था तथा मांगे नहीं मानी जाने पर आंदोलन की चेतावनी भी दी थी।
इसके अलावा मुख्यमंत्री से विभिन्न क्षेत्रों में मुलाकात कर महासंघ के पदाधिकारियों ने उचित मांगे मानने के लिए अवगत करवाया था। जिस पर मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने जल्द ही समाधान करने की बात कही थी। सरकार द्वारा सहमति व समझौते किए जाने के बावजूद भी कर्मचारियों की मांगों को दरकिनार कर आठ लाख कर्मचारियों के साथ विश्वासघात किया है, जिससे कर्मचारियों में भारी निराशा और आक्रोश का माहौल बन रहा है।
ये रखी मांगे
कर्मचारियों ने ज्ञापन के माध्यम से बताया कि बोर्ड निगम स्वायत्तशासी संस्थाओं व अन्य संस्थाओं में कार्यरत कर्मचारियों को 1 जनवरी 2016 से सातवें वेतन आयोग सहित विभिन्न पर लाभ दिया जाए, संविदा पर कार्यरत कर्मचारियों को नियमित कर सरकार द्वारा चलाई जा रही ठेका प्रथा को बंद किया जाए, कर्मचारियों का शोषण रोका जाए, सरकार द्वारा कर्मचारियों के स्वास्थ्य एवं उपचार के लिए आरजीएस स्कीम के तहत काटी जा रही कटौती को बंद किया जाने सहित अन्य मांगों को लेकर धरना भी दिया।
ये रहे मौजूद
इस मौके पर नर्सिंग अधीक्षक सत्यवीर मान, कृष्ण कुमार जांगिड़, दाताराम यादव, सहीराम वर्मा, मदनलाल दोराता, ताराचंद सैनी, मालीराम सैनी, फकीरचद, राजेंद्र जांगिड़, विजयपाल सैनी, राकेश कुमार, महेश अग्रवाल, दीपेंद्र सैनी, महेंद्र सिंह, सुमेर सिंह, अमित कुमार, अनीत कटेवा सहित अन्य कर्मचारी मौजूद रहे।